नवंबर 2015 में आतंकियों से मुठभेड़ के समय वह टेरिटोरियल आर्मी की 160 इन्फैंट्री बटालियन में तैनात थे. इस दौरान वह कुपवाड़ा के मनीगाह के घने जंगली इलाके में छिपे आतंकवादियों के खिलाफ तलाशी अभियान का नेतृत्व कर रहे थे. इस दौरान उन्हें आतंकियों ने गोली मार दी थी, जिससे वह गंभीर रूप से घायल हो गए थे.
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8 साल कोमा में रहने के बाद जवान ने तोड़ा दम, मुठभेड़ में हुआ था घायल
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December 27, 2023
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